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Kashmir

 कश्मीर  सदियों पहले जब थी भारत माता अखण्ड,  भुवन भास्कर का मंदिर था मार्तंड , ललितादित्य राजा का गौरव प्रचंड, शिव और शिवा रहते कैलाश की द्रोनी पर, भगवान विष्णु का शेष शयन है झीलों में, श्रषि और मुनी पर्वत पर ध्यान लागाते हैं, कुछ कंद मूल कश्मीरी फल वे खाते हैं, दिन रात निरंतर राम नाम धुन गाते हैं। भुवन भास्कर को नित अर्घ्य चढ़ाया जाता था, धरती का तो जन्नत कश्मीर कहलाता था। भारत माता का शीष नयण का था तारा , ऋषि कश्यप और कपिल को प्राणों से प्यारा, फिर आज विदेशी आक्रांता से क्यों हारा ?  क्या इन प्रश्नों पर कभी चिंतन हम करते हैं?  अपने निज स्वार्थ को राष्ट् पर वरते हैं ?  क्यों युगों युगों से हम सनातनी मरते हैं?  इन यक्ष प्रश्न का उत्तर अब गढ़ना होगा। समता ममता और राष्ट्र प्रेम पढ़ना होगा , प्रण करो कि भारत का शीश नहीं कटने देंगे, सम्मान तिरंगे का न कभी हटने देंगे, दस बार बंट चुके और नहीं बंटने देंगे।  जिसने फैलाया ज्ञान चतुर्दिक घाटी में, गूंजे पुराण और वेद तक्षशिला वाटी में, क्या इतनी ताकत थी म्लेच्छों की लाठी में ?  जो बही रक्त की नदी सिंधु की घाटी में, डूबा गौरव प्राचीन चिनाव की धारो

Ramnavami

 रामनवमी की हार्दिक शुभकामनाएँ आज दिनांक 21. 04 . 2021 को रामनवमी का त्यौहार है. चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की नौमी तिथि को हीं त्रेतायुग में आज से सात लाख वर्ष पूर्व प्रभु श्री राम का जन्म अयोध्या अधिपति चक्रवर्ती सम्राट महाराजा दसरथ के यहाँ हुआ. तत्कालीन समाज में धरती पर अधर्म, अनाचार, अत्याचार इतना बढ़ चुका था कि धरती माता पाप के बोझ को सहने में असमर्थ हो गई. धरती माँ गाय🐄 का रूप धारण कर भगवान श्री हरि विष्णु के पास अपनी ब्यथा को लेकर गई. भगवान श्री हरि विष्णु ने शीघ्र धरती पर अवतरित होकर अधर्म का नाश एवं धर्म की रक्षा का आश्वासन दिया. गीता जी में भी कहा गया है, यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारतः अभ्युत्थानमधर्मस्य तदात्मानं सृजाम्यहम् परित्राणाय साधूनां विनाशाय च दुष्कृताम् धर्मसंस्थापनार्थाय संभवामियुगेयुगे.श्री राम चरित मानस में भी कहा गया है कि, जब जब होहिं धरम की हानि बाढ़ असुर अधम अभिमानी तब तब प्रभु धरि विविध शरीरा हरहिं  कृपानिधि सज्जन पीरा. श्री राम नायक हीं नहीं ब्रम्हांड नायक हैं, कठिन परिस्थितियों में भी विचलित नहीं होते हैं, अयोध्या में उनके राजतिलक की तैयारी के बीच अच

Benefits of Sugarcane

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Benefits of Sugarcane Scientific name : Saccharum officinarum गन्ना  वात  रोग ( flatulence ) में फायदेमंद है. गन्ने के रस में पुदीना ( mint )और अदरक ( ginger ) डालकर पीने से पीलिया( jaundice ) में लाभ होता है. भोजन के पहले गन्ना चूसने से भूख बढ़ जाती है. नीम और पीपल का छाल तथा  गन्ने की जड़  का काढ़ा( decoction ) बनाकर पीने से मधुमेह( diabetes ) में फायदा होता है एवं urinary infection में भी लाभकारी होता है.  गन्ने का रस पीने से शरीर में calcium की कमी दूर होती है.

Many Ramas, Many Ramayanas : a list of the numerous versions of Ramayana

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It has been rightly written by Tulsidasa in his book, 'Ramcharita Manas' that - "Ramayana sat koti apara" literally meaning that there are more than 100 crore versions of Ramayana. The epic poem Ramayana has established its far flung scope to distant corners of the world. What follows is a list of countries with their own versions of Ramayana:- Cambodia-  Ramkor/Ramkerti-Riamker Sri Lanka- Malayraj Kathaav Tibet- Kavyadarsh Indonesia- Kakavin Ramayana Malaysia- Hikayat Seriram Myanmar- Ramvatthu Japan- Hobutsushu Laos- Fralak Fralam Ramjatak Thailand- Ramkiyen/Ramkirti Turkestan- Khotani Ramayana Mongolia- Jeevak Jatak Iran- Masihi Ramayana

Balshali Bathua (Pigweed - Chenopodium album)

Crucial minerals in 100 grams of raw Bathua:- Iron- 1.20mg Calcium- 309mg Magnesium- 34mg Phosphorus- 72mg Potassium- 452mg Sodium- 43mg Zinc- 0.44mg Copper- 0.293mg Manganese- 0.782mg Selenium- 0.9mg Rich in amino acids Rich in all 8 kinds of antioxidants A heart tonic (strengthens the heart) Kills intestinal worms Helps in proper digestion Reduces the formation of kidney stones Keeps the teeth healthy Reduces swelling (in piles)

Indigestion(ajeerna)

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SYMPTOMS:- Bhojan na pachna Bhojan na karne ki ichha Shareer mein ghabrahat Chakkar aana Bhook na lagna Khatti dakar aana* CAUSES:- Uchit samay par bhojan na karna Adhik matra mein bhojan karna Bhojan chabakar na khana Oily aur spicy bhojan karna Tea, Coffee aur Tobacco ka adhik sevan Lobh, shoak, moh aur chinta adhik karna TREATMENT:- 3g Ginger+1/2 Lemon**+Salt ka sevan se Khana khane ke baad 1g Black salt ko paani mein milakar peene se Ajwain+Black salt ka khana khane ke baad 1/2 chammach gungune(warm) paani ke saath sevan se Aadha din upwas(fasting) karein Garam paani ke sevan se Raat mein khichdi(indian national food) khane se 1/2 Lemon** kaatkar usmein Rock salt bharkar khane se pehle choosein Chitrakadi vati ka khana khane ke baad garam paani ke saath sevan se 5 Jamun khana khane ke baad chabakr khane se Papaya ke sevan se (*Khatti dakarien khate samay adhik paani peene se hoti hai) (**Lemon ka potassium paet ke acid ko neutralise karta

Gharelu Nuskhe 3

MEMORY badhane ke liye :- Pranayam karein.  Ankurit anaj, Fal, Salad, Juice, Hare patte wali sabji ka upayog karein. Parr ke talvon ki pratidin 5 minute maalish karni chahiye. STRESS se rahat ke liye :- 2 badam, 2 chhoti elaichi aur 5 kaalimirch ko baareek peeskar thode se shahad ke saath milakar khaana chahiye. EYESIGHT acchi karne ke liye:- Parr ke talvon ki pratidin 5 minute maalish karni chahiye.